चंद्रबदनी-नैखरी परिसर में पहली बार ‘दीक्षारंभ’ कार्यक्रम का भव्य आयोजन

चंद्रबदनी-नैखरी परिसर में पहली बार ‘दीक्षारंभ’ कार्यक्रम का भव्य आयोजन
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श्री देव सुमन उत्तराखंड विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. एन. के. जोशी रहे मुख्य अतिथि

टिहरी गढ़वाल। श्री देव सुमन उत्तराखंड विश्वविद्यालय के चंद्रबदनी-नैखरी परिसर में बुधवार को पहली बार नवप्रवेशी छात्र-छात्राओं के लिए इंडक्शन प्रोग्राम ‘दीक्षारंभ’ का भव्य आयोजन किया गया।

कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. एन. के. जोशी मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। यह आयोजन नवागंतुक विद्यार्थियों के शैक्षणिक जीवन की औपचारिक शुरुआत के रूप में आयोजित किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ मां सरस्वती की वंदना और दीप प्रज्ज्वलन के साथ हुआ, जिसके पश्चात कुलपति महोदय सहित सभी गणमान्य अतिथियों ने विद्यार्थियों का स्वागत किया।

मुख्य अतिथि प्रो. जोशी ने अपने संबोधन में छात्रों को आत्मानुशासन, लक्ष्य निर्धारण और उत्तराखंड की सांस्कृतिक गरिमा को बनाए रखने की प्रेरणा दी। उन्होंने अमर बलिदानी श्रीदेव सुमन जी के जीवन पर प्रकाश डालते हुए कहा कि छात्रगण उनके विचारों को आत्मसात करें और राष्ट्र निर्माण में भागीदार बनें। उन्होंने विद्यार्थियों से आग्रह किया कि—

“वे मृदुभाषी बनें, विनम्रता को जीवन में उतारें, स्वयं से प्रतिस्पर्धा करें और समय की पाबंदी को आदत बनाएं।”

प्रो. जोशी ने राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020 पर भी चर्चा की और विद्यार्थियों को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एवं ऑनलाइन कोर्सेज की जानकारी लेने और डिजिटल सशक्तता अपनाने की सलाह दी।

इसके पश्चात विश्वविद्यालय के कुलसचिव श्री दिनेश चंद्रा ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि विश्वविद्यालय केवल डिग्री प्रदान करने का संस्थान नहीं, बल्कि चरित्र निर्माण एवं राष्ट्र सेवा की भावना को विकसित करने का केंद्र है। उन्होंने विद्यार्थियों को अनुशासन, आत्मनिरीक्षण और सजगता के साथ अध्ययन करने की प्रेरणा दी।

NEP समन्वयक प्रो. डी.सी. गोस्वामी ने ऑनलाइन माध्यम से व्याख्यान प्रस्तुत करते हुए नई शिक्षा नीति की मूल अवधारणाओं, लक्ष्यों एवं विद्यार्थियों के लिए इसके बहुआयामी लाभों पर विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने कहा कि आज का युवा जितना डिजिटल रूप से दक्ष होगा, उतना ही उसका भविष्य उज्ज्वल होगा।

कार्यक्रम में परिसर निदेशक डॉ. महंत मौर्य, संयोजक डॉ. दयाधर दीक्षित, डॉ. प्रताप सिंह विष्ट, कार्यक्रम संचालक श्री अरविंद राणा, एवं समस्त प्राध्यापकगण मंच पर उपस्थित रहे।

कार्यक्रम में विद्यार्थियों को विश्वविद्यालय की कार्यप्रणाली, पाठ्यक्रम, मूल्यांकन प्रणाली, नैतिक मूल्यों और करियर मार्गदर्शन की जानकारी भी प्रदान की गई।


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Govind Pundir

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