प्राथमिकता तय कर एकमुश्त अनुदान के तहत र्निविवादित भूमि के अवधारणा परियोजना रिपोर्ट संस्तुति सहित उपलब्ध करायें-अध्यक्ष, 6वां राज्य वित्त आयोग

प्राथमिकता तय कर एकमुश्त अनुदान के तहत र्निविवादित भूमि के अवधारणा परियोजना रिपोर्ट संस्तुति सहित उपलब्ध करायें-अध्यक्ष, 6वां राज्य वित्त आयोग
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टिहरी गढ़वाल। बुधवार को जिला सभागार नई टिहरी में छठवाँ राज्य वित्त आयोग के तत्वाधान में शहरी स्थानीय निकायों के प्रतिनिधियों के साथ विचार-विमर्श कार्यशाला आयोजित की गई। बैठक में वित्त आयोग के दायित्वों, नगर निकायों के अधिकार, दायित्वों एवं निकायो में आ रही समस्याओं पर चर्चा कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिये गये।

बैठक में 6वाँ राज्य वित्त आयोग के अध्यक्ष एन. रवि शंकर ने नगर निकायों के नव निर्वाचित अध्यक्ष एवं सभासदों को बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए आयोग के दायित्वों से अवगत कराया। उन्होंने नगर निकायों के अध्यक्ष, सभासद से कहा कि 05 वर्ष की अवधि में बहुत कुछ किया जा सकता है। इसके लिए सभी को अपने-अपने क्षेत्रान्तर्गत आगामी 20 वर्षों की अवधि को सोचकर कार्य करना होगा। उन्होंने कहा कि ऋषिकेश, मुनि की रेती, तपोवन, स्वर्गाश्रम को अलग पहचान मिली है तथा शासन-प्रशासन और नगर निकायों को एकीकृत होकर पर्यटकों की सुविधा के दृष्टिगत चलना वांछित है। उन्होंने कहा कि भूमि की रक्षा करना सभी का दायित्व है और उसका बेहत्तर उपयोग किस प्रकार किया जा सकता है, इस दिशा में कार्य किया जाना आवश्यक है। कहा कि हरिद्वार-ऋषिकेश में एक कॉरिडोर बनाये जाने की कोशिश है, ताकि पर्यटक को मूलभूत सुविधा प्राप्त हो सकें।

इस मौके पर 6वाँ राज्य वित्त आयोग के सदस्य पी.एस. जंगपांगी ने कहा कि चारधाम यात्रा वाले जनपदों को छोड़कर सभी जनपदों में टीम द्वारा दौरा किया जा रहा है। इसी के तहत आज जनपद टिहरी में संबंधित यूएलवी एवं अधिकारियों के साथ बैठक की गई। उन्होंने कहा कि गांवों से शहरों की ओर हो रहे सतत् पलायन को देखते हुए शहरों को विकसित किया जाना आवश्यक है। उन्होंने कहा कि संविधान में स्थानीय निकाय को स्थान देते हुए सारी व्यवस्थाएं की गई हैं, उसका अध्ययन करें। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में ग्राम पंचायत, नगर पंचायत, नगरपालिका, नगर निगमों को उच्चीकृत करने की अच्छी सोच बनी है। नगरीकरण की रफ्तार काफी अधिक है, जो स्वागत योग्य कदम है। उन्होंने कहा कि नगर निकायों के लिए अब माइक्रो प्लान बनाना होगा, इसके लिए नगर नियोजन से संबंधित विभाग को निरूपण करें। आयोग ने निर्णय लिया गया है कि नव गठित, उच्चीकृत निकायों की राजस्व भूमि का चिन्ह्किरण कर भूमि हस्तान्तरण की कार्यवाही हेतु शासन को अवगत कराया जायेगा।

बैठक में अध्यक्ष, सभासदों द्वारा अपने-अपने क्षेत्रान्तर्गत कार्मिक, पर्यावरण मित्र बढ़ाने, पार्किंग व्यवस्था, कार्यालय भवन, विद्युत शवगृह, हाईटेक लाइब्रेररी, स्मार्ट शौचालय, सीवर लाइन, नवगठित निकायों की राजस्व भूमि हस्तान्तरित करने, अवस्थापना संबंधी आदि कई मांगे रखी गई। इस पर अध्यक्ष ने सभी नगर निकाय के अधिकारियों को कार्याें को करने हेतु प्राथमिकता तय करते हुए एकमुश्त अनुदान के तहत र्निविवादित भूमि के अवधारणा परियोजना रिपोर्ट संस्तुति सहित उपलब्ध कराने के निर्देश दिये। उन्होंने नगर निकायों को जनसंख्या का आंकलन करते हुए 15वां वित्त, राज्य वित्त एवं अपने-अपने संसाधनों के आधार पर अवस्थापना कार्य करने को कहा। अध्यक्ष ने देवप्रयाग, मुनिकीरेती, तपोवन को नमामि गंगे में तथा नई टिहरी की आन्तरिक सड़कों को लोनिवि में लेने की बात कही गई।

जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने बताया कि नगर निकाय क्षेत्रान्तर्गत पार्किंग निर्माण का कार्य अलग-अलग मदों के तहत पूरा किया जा रहा है। उन्होंने घनसाली में सोलर प्लांट हेतु स्थान चिन्ह्ति करने, चम्बा में सोर्सेज व यूजर चार्जेज बढ़ाने व उपयोग में न लाई जा रही पार्किंग के सम्पर्क मार्ग की डीपीआर उपलब्ध कराने तथा कूड़ा फैलाने वालों पर चालानी कार्यवाही बढ़ाने के निर्देश संबंधित ईओ को दिये।

बैठक में सीडीओ सीडीओ वरुणा अग्रवाल, न.पा.अध्यक्ष मुनीकीरेती नीलम बिजल्वाण, न.पा.अध्यक्ष देवप्रयाग ममता देवी, न.पा.अध्यक्ष नई टिहरी मोहन सिंह रावत, न.पा.अध्यक्ष चम्बा शोभनी धनोला, न.पं. अध्यक्ष चमियाला गोविन्द सिंह राणा, न.पं.अध्यक्ष तपोवन बिनीता बिष्ट, न.पं. अध्यक्ष लम्बगांव रोशन सिंह रांगड़, न.पं. अध्यक्ष घनसाली आनन्द बिष्ट, न.पं.अध्यक्ष कीर्तिनगर राकेश मोहन, पीडी डीआरडीए पी.एस. चौहान, डीडीओ मो. असलम, एसडीएम संदीप कुमार सहित सभासद, समस्त नगर पालिका, नगर पंचायतों के अधिशासी अधिकारी उपस्थित रहे।


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Govind Pundir

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