श्राइन बोर्ड गठन को लेकर तीर्थ पुरोहित हक हकूकधारी महापंचायत ने जताई नाराज़गी

श्राइन बोर्ड गठन को लेकर तीर्थ पुरोहित हक हकूकधारी महापंचायत ने जताई नाराज़गी
Pilgrimage rights for the formation of Shrine Board, Hukukdhari Mahapanchayat expressed resentment
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गढ़ निनाद ब्यूरो, 28 नवंबर 2019

उत्तराखंड सरकार के चार धाम साइन बोर्ड गठित करने के निर्णय के खिलाफ तमाम पुरोहित समाज में नाराजगी है। त्रिवेंद्र सरकार कैबिनेट ने चारधाम समेत 51 मंदिरों की व्यवस्था को उत्तराखंड श्राइन बोर्ड गठित करने की घोषणा की है। इस निर्णय के बाद तीर्थ पुरोहित एवं हक हकूकधारियों ने नाराज़गी जताते हुए कहा कि उनके साथ बातचीत किए बिना निर्णय लिया गया है।

चार धाम तीर्थ पुरोहित हक हकूकधारी महापंचायत के अध्यक्ष कृष्णकांत कोठियाल ने इस फैसले पर नाराजगी जताते हुए कहा कि महापंचायत इसका पुरजोर विरोध करेगी। कोठियाल ने आरोप लगाया कि सरकारी सिस्टम श्राइन बोर्ड को लेकर जताई गई आशंकाओं का जबाब नहीं दे रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार पहले इस बारे में तीर्थ पुरोहितों व हकूकधारीयों से बात करे और आश्वस्त करे कि उनके हक-हकूक प्रभावित नहीं होंगे। कोठियाल ने कहा कि सरकार के इस निर्णय से अनावश्यक विवाद की स्थिति उत्पन्न हो गई है।

कोठियाल ने कहा कि राज्य में मन्दिरों की व्यवस्थाएं सदियों से तीर्थ पुरोहित संभालते आए हैं, सरकार को इन व्यवस्थाओं से जुड़े ज्यादा समय नहीं हुआ है। इसलिए इन्हें श्राइन बोर्ड के अधीन करना उचित नहीं है। 

अध्यक्ष कोठियाल ने कहा कि बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री यमनोत्री के संरक्षण, प्रचार प्रसार एवं व्यवस्थायें सम्भालने में तीर्थ पुरोहितों व हक हकूकधारियों की पीढ़ियाँ गुजर गई हैं। इसलिए सरकार को इस फैसले को तत्काल वापस लेना चाहिए।


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